किसानों को बाजार में बेचनी पड़ रही है पर हेक्टेयर 10 क्विंटल मूंग

मूंग
  • सरकारी आंकड़ों में होता है पर हेक्टेयर महज 8 क्विंटल उत्पादन

भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। अच्छा काम करने पर प्रोत्साहन मिलता है, पर मप्र में मूंग की पैदावार में रिकॉर्ड बनाने वाले किसानों को प्रोत्साहित करने की जगह हतोत्साहित किया जा रहा है। इसकी वजह से किसानों को बीस हजार रुपए प्रति हेक्टेयर की चपत लग रही है। दरअसल इस तरह की स्थिति बनने की वजह हैं, वे अफसर जो एसी कमरों में बैठकर नीतियां बनाते हैं और सरकार भी उन पर अपनी सहमति दे देती है। इससे किसानों में नाराजगी बढ़ती ही जा रही है। अब किसानों ने इस मामले में आंदोलन की चेतावनी दी है। इसकी शुरुआत किसानों ने नर्मदापुरम, हरदा  और जबलपुर से कर भी दी है। प्रदेश के नर्मदापुरम, नरसिंहपुर, जबलपुर, हरदा, बैतूल, छतरपुर समेत 32 जिलों में किसानों द्वारा गर्मी की मूंग की फसल ली गई है। इस बार प्रति हेक्टेयर 16 से 18 क्विंटल उत्पादन रहा है। 1 जुलाई से 8558 रुपए समर्थन मूल्य पर खरीदी की जा रही है। जिसमें प्रति हेक्टेयर 8 क्विंटल की खरीदी लिमिट तय कर दी है। इस कारण किसान एक हेक्टेयर में पैदा हुई बाकी की 8 से 10 क्विंटल मूंग समर्थन मूल्य पर नहीं बेच पा रहे हैं। उन्हें यह मूंग बाजार में बेंचनी पड़ रही है, जिससे उन्हें प्रति क्विंटल दो हजार तक का नुकसान उठाना पड़ रहा है।
किसानों को इसलिए नुकसान
असल में जो मूंग सरकारी खरीदी केंद्रों पर 8558 रुपए में खरीदी जा रही है, खुले बाजार में उसके दाम 6500 से 7000 रुपए ही मिल रहे हैं। किसान पैदा किया एक-एक दाना समर्थन मूल्य अर्थात सरकारी केंद्रों पर बेचना चाहते हैं, लेकिन खरीदी लिमिट प्रति हेक्टेयर 8 क्विंटल तय करने के कारण एक हेक्टेयर में पैदा हुई बाकी 8 से 10 क्विंटल मूंग खुले बाजार में 6500 से 7000 रुपए में बेचना पड़ रही है। इस पर 1500 से 2000 प्रति क्विंटल का नुकसान हो रहा है।
विस में उठा  मामला तब मिली कुछ राहत
किसानों का यह मुद्दा विधानसभा में भी गूंज चुका है। कांग्रेस विधायक अभिजीत शाह ने किसानों की पीड़ा उठाई और सदन के सामने हकीकत रखी थी। इसके बाद सरकार सक्रिय हुई और अब जाकर 8 की जगह 12 क्विंटल की खरीद की लिमिट तय की गई है। इसी तरह से किसानों के सामने दूसरी परेशानी इसकी खरीद मात्रा को लेकर बनी हुई है। सरकार ने तय किया हुआ है कि एक दिन में एक खातेदार किसान से 25 क्विंटल से अधिक की खरीदी नहीं की जाएगी।
परेशान हो रहे किसान
नर्मदापुरम जिले की सिवनी मालवा तहसील के चापड़ा ग्रहण निवासी किसान सूरजबली जाट ने 35 हेक्टेयर में मूंग की खेती कर 215 क्विंटल उत्पादन लिया। किसान का कहना है कि इसमें से आधी भी मूंग नहीं खरीदी जा रही है। इतनी मूंग को बारिश में नमी से बचाकर रखना मुश्किल हो गया है। बैराखेड़ी के किसान सुरेंद्र राजपूत का कहना है कि चाहे कितना भी उत्पादन हुआ हो लेकिन मूंग बेचने के लिए पंजीयन कराते समय तय लिमिट से अधिक का पंजीयन ही नहीं हो रहा है। बची मूंग औने-पौने दाम में बेचनी पड़ रही है।

Related Articles