
– दो तिहाई सीटों पर जीत दर्ज कर कांग्रेस के दिग्गजों को दिया बड़ा झटका
भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। निकाय चुनाव के दूसरे चरण में भी भारतीय जनता पार्टी ने एक बार फिर से अपनी ताकत दिखाते हुए कांग्रेस के कई आला नेताओं के गढ़ में मात देकर अपनी बादशाहत कायम रखी है। इस चरण में हालांकि महज 46 निकायों में ही चुनाव हुए हैं, लेकिन मप्र की राजनीति में यह चुनाव बेहम अहम माने जाते हैं। इसकी वजह है यह वे इलाके हैं, जो आदिवासी बाहुल माने जाते हैं। इनका प्रदेश में विधानसभा चुनाव में 47 सीटों पर बेहद अहम रोल रहता है। अब तक 27 निकायों में से 20 पर भाजपा के अध्यक्ष निर्वाचित घोषित किए जा चुके हैं। अब तक आए परिणामों में महज छह निकायों में कांग्रेस तथा एक में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी का अध्यक्ष निर्वाचित हुआ है। इनमें कमलनाथ से लेकर कांग्रेस के सबसे बड़े आदिवासी चेहरे कांतिलाल भूरिया के भी इलाके शामिल हैं। कांग्रेस अपने प्रदेशाध्यक्ष कमलनाथ के गृह जिला छिंदवाड़ा में ही खाता नहीं खोल सकी।
नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह ने सभी नव निर्वाचित अध्यक्षों को बधाई देते हुए कहा है कि खास बात यह है कि कांग्रेस के गढ़ माने जाने वाले जनजाति बहुल विधानसभा क्षेत्रों के नगरीय निकायों के मतदाताओं ने भाजपा के प्रति अपना विश्वास जताया है। अधिकांश जनजातीय बहुल निकायों में पार्टी के अध्यक्ष चुने गए हैं। दूसरे चरण वाले 14 नगरीय निकायों में 18 अक्टूबर तथा 5 में 19 अक्टूबर को अध्यक्ष निर्वाचन किया जाएगा।
भूरिया के गढ़ में भी मिली शिकस्त
पूर्वकेन्द्रीय मंत्री और पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया के गृह जिले झाबुआ में भी कांग्रेस को बुरी तरह से हार का सामना करना पड़ा है। झाबुआ नगर पालिका अध्यक्ष के चुनाव में बतौर भाजपा प्रत्याशी कविता सिंगार ने जीत दर्ज की है। हालात यह रहे की कांग्रेस के सात पार्षद होने के बाद भी उसके प्रत्याशी को महज चार मत ही मिल सके। उधर, कांग्रेस को आठनेर में भी नुकसान उठाना पड़ा। हालात यह रहे की भाजपा के पक्ष में कांग्रेस के भी तीन पार्षदों ने मत दिए हैं। इसकी वजह से भाजपा को 9 की जगह तेरह मत मिले और मनोज जगताप की जीत हो गई।
शिव व वीडी की मेहनत लाई रंग
दरअसल इन चुनावों में भी मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान व प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा ने पहले चरण के चुनाव की तरह ही मेहनत की। दोनों नेता न केवल चुनाव प्रचार करने गए , बल्कि बैठकें कर स्थानीय नेताओं के साथ मिलकर जीत की रणनीति पर भी काम करते रहे। इसके उलट कांग्रेस में कोई भी बड़ा नेता न तो सभा करते इन निकायों में नजर आया और न ही कोई बड़ा नेता इन दोनों ही नेताओं की तरह सक्रिय नजर आया। यही नहीं अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के चुनाव में भी भाजपा का प्रदेश संगठन भोपाल से पूरी नजर बनाए हुए था, जबकि कांग्रेस नेता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव और भारत जोड़ो यात्रा में व्यस्त बने रहे।
सागर जिला हुआ कांग्रेस मुक्त
दूसरे चरण में कुल 46 नगरीय निकायों में हुए चुनाव हुए हैं, इनमें से बालाघाट, छिंदवाड़ा, सागर, बैतूल, झाबुआ, खरगौन, सिवनी, अनूपपुर एवं सिंगरौली जिले के 16 नगरीय निकायों में अध्यक्ष पद के लिए बीते रोज निर्वाचन किया गया। भाजपा 13 में, एक पर पार्टी समर्थित निर्दलीय, 2 में कांग्रेस एवं 1 निकाय में गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के अध्यक्ष चुने गए। सागर जिले में तीनों निकाय कांग्रेस मुक्त हो गए हैं। नगरीय विकास मंत्री सिंह के विधानसभा क्षेत्र की खुरई नगर पालिका में तो सभी 32 वार्डों में बीजेपी के प्रत्याशी विजयी रहे थे। यहां दो दिन पहले भाजपा की नन्हीं बाई निर्विरोध निर्वाचित हुईं थी। जिले की गढ़ाकोटा नगर पालिका में पार्टी की दीपा दिनेश लहरिया एवं करार्पुर नगर का परिषद में मीरा गुलाब अहिरवार अध्यक्ष चुनी गईं।
छिंदवाड़ा के तीनों निकायों में खिला कमल
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष कमलनाथ के गढ़ छिंदवाड़ा जिले के तीन निकायों जुन्नारेदव व सौंसर नगर पालिका और मोहगांव हवेली नगर परिषद में भाजपा के अध्यक्ष चुने गए। सौंसर में तो कांग्रेस को प्रत्याशी ही नहीं मिला और बीजेपी की सुरेखा इंदुचंद्र डागा निर्विरोध निर्वाचित घोषित की गईं। सिवनी जिले की लखनादौन नगर परिषद में बीजेपी समर्थित मीना गोहलानी निर्दलीय के तौर पर अध्यक्ष चुनी गईं। अनूपपुर की कोतमा नगर पालिका व खरगोन की मंडलेश्वर नगर परिषद में ही कांग्रेस के अध्यक्ष चुने गए हैं।
पार्टी के प्रति जनता के बढ़ते विश्वास की जीत : वीडी
भारतीय जनता पार्टी की सरकारों ने देश-प्रदेश में विकास के जो काम किए हैं, जिस तरह से गरीब कल्याण की योजनाओं के माध्यम से लोगों का जीवन बदलने का काम किया है, उसके आधार पर प्रदेश की जनता का विश्वास भाजपा के प्रति लगातार बढ़ रहा है। प्रदेश के 16 नगर निकायों के अध्यक्ष व उपाध्यक्ष निर्वाचन में भाजपा प्रत्याशियों को मिली सफलता इसी तथ्य को रेखांकित करती है। यह बात भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद विष्णुदत्त शर्मा ने 16 निकायों में से 13 में पार्टी प्रत्याशियों के जीतने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कही। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार की नीतियों, जनहितैषी योजनाओं, गरीब कल्याण के कार्यक्रमों तथा सुशासन के चलते भाजपा और विकास एक-दूसरे के पर्याय बन गए हैं। जनता इस तथ्य को भलीभांति समझने लगी है कि विकास के मामले में भाजपा का कोई विकल्प नहीं हैं। दूसरी पार्टियां लुभावने वादे करना तो जानती हैं, लेकिन जब उन पर अमल करने की बात आती है, तो जनता को धोखा ही मिलता है।