यस एमएलए/भाजपा के कई दिग्गजों की सीट पर नजर

 प्रवीण पाठक

भोपाल/हरीश फतेहचंदानी/बिच्छू डॉट कॉम। ग्वालियर दक्षिण विधानसभा सीट पर वर्तमान में कांग्रेस का कब्जा है और मौजूदा विधायक प्रवीण पाठक के टिकट को लेकर कोई संशय नहीं है। ग्वालियर में कांग्रेस के युवा चेहरे माने जाने वाले प्रवीण पाठक लगातार क्षेत्र में सक्रिय है और पदयात्रा के माध्यम से घर-घर तक पहुंच रहे है। वहीं ग्वालियर दक्षिण से भाजपा की तरफ से टिकट के कई दावेदार है। 2018 के विधानसभा चुनाव में मामूली अंतर से हराने वाले नारायण सिंह कुशवाह इस बार भी टिकट की दावेदारी कर रहे है लेकिन पार्टी संगठन की ओर से उन्हें ओबीसी मोर्चा का प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने से उनकी दावेदारी कमजोर हो गई है। वहीं भाजपा की तरफ से टिकट की दूसरी मजबूत दावेदार पूर्व महापौर समीक्षा गुप्ता है। 2018 के विधानसभा चुनाव में समीक्षा गुप्ता ने अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज कराई थी। टिकट के लिए समीक्षा गुप्ता खासा सक्रिय है।  ग्वालियर दक्षिण सीट पर भाजपा का दबदबा है, लेकिन वर्तमान में इस सीट पर कांग्रेस का विधायक है। इस बार चुनाव में भाजपा की ओर से कई संभावित उम्मीदवार हैं, जिन्हें टिकट मिल सकता है। जबकि कांग्रेस से अभी तक प्रवीण पाठक का नाम ही सामने आया है। ऐसे में इस सीट को लेकर भाजपा में गुटबाजी देखने मिल सकती है। इस विधानसभा सीट से भाजपा अपना 6 बार विधायक बना चुकी है, लेकिन वर्तमान में इस सीट पर कांग्रेस का कब्जा है। वर्तमान में इस सीट से प्रवीण पाठक विधायक हैं।
विधानसभा क्षेत्र के मुद्दे
अब ग्वालियर दक्षिण विधानसभा की मूल समस्याओं के बारे में बात करते हैं। इस ग्वालियर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र में ज्यादातर खराब सडक़ें प्रमुख मुद्दा है। सीवेज और पानी का संकट भी लगातार गहराता जा रहा है। लोग रोजगार को लेकर हमेशा यहां पर अग्रसर रहते हैं, लेकिन इसके बावजूद भी यहां पर किसी की कोई सुनवाई नहीं है। इसके साथ ही इस विधानसभा से वर्तमान कांग्रेस विधायक प्रवीण पाठक लगातार जन समस्याओं को लेकर अधिकारी और मंत्रियों से मुखर रहते हैं। इसके अलावा वह लगातार सरकार और प्रशासन पर पक्षपात का आरोप लगाते रहे हैं, उनका कहना है कि कांग्रेस का विधायक होने के नाते यहां पर सरकार और प्रशासन की कोई मदद नहीं मिल पा रही है और ना ही उनके काम हो रहे हैं। साथ ही समस्याओं का निराकरण भी नहीं हो पा रहा है। इसके साथ ही इस विधानसभा में काफी सकरी गलियां है। इस कारण यहां पर जाम की स्थिति बनी होती है। वहीं ज्यादातर सड़कें पूरी तरह खराब पड़ी है। जिसके कारण आम लोगों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। वहीं यह सीट कांग्रेस की होने के कारण इस विधानसभा पर सरकार और प्रशासन की कोई नजर नहीं है।
विकास के अपने-अपने दावे
विधानसभा क्षेत्र को लेकर विधायक प्रवीण पाठक का कहना है कि क्षेत्र में मेरी सक्रियता बनी हुई है। 2023 के चुनाव के लिए मैं पूरी तरह से तैयार हूं। पार्टी के लिए प्राण-प्रण से जुटा हूं। कोरोना की दूसरी लहर में जब लोग अपने जान बचाने में जुटे थे, तब मैं भी ऑक्सीजन टैंकर को उचित स्थान पर पहुंचाने के लिए जुटा था। अस्पताल की समस्या हो या दक्षिण क्षेत्र के स्कूलों की दशा सुधारने की बात हो, मैंने हर काम अपने लोगों के बीच रहकर किया है। वहीं भाजपा नेता नारायण सिंह कुशवाह का कहना है कि प्रदेश की भाजपा सरकार ने हनुमान बांध से निकल रही स्वर्णरेखा नदी में स्वच्छ जल प्रवाहित करने का काम किया है। महाराज बाड़ा का सौंदर्यीकरण का मामला हो या गोरखी, टाउन हॉल को चमाचम करने का तरीका। यह काम भाजपा सरकार की ओर से ही कराए जा रहे हैं। इन्हें कोई नजरअंदाज नहीं कर सकता।
 सियासी मिजाज
2008 में परिसीमन से पहले ये सीट लश्कर पश्चिम नाम से जानी जाती थी। इसके बाद इसका नाम ग्वालियर दक्षिण हुआ। पिछले 20 सालों में कांग्रेस यहां किसी को स्थाई नेता नहीं बना पाई। जबकि भाजपा ने नारायण सिंह कुशवाह को पहले पार्षद बनाया, फिर विधायक का टिकट देकर मंत्री भी बनाया। भाजपा के नारायण सिंह 2003, 2008 और 2013 में विधायक बने। इससे पहले 1984 में कांग्रेस ने जातिगत समीकरण बैठाते हुए कामता प्रसाद कुशवाहा को टिकट दिया था। तब उन्होंने भाजपा के दिग्गज नेता शीतला सहाय को हरा दिया था। उसके बाद से कांग्रेस ने कुशवाहा को टिकट ही नहीं दिया। हालांकि 2018 में कांग्रेस के प्रवीण पाठक ने नारायण सिंह कुशवाह को हराकर बाजी मार ली थी।
जातिगत समीकरण
ग्वालियर दक्षिण विधानसभा सीट जातिगत समीकरण के हिसाब से कुशवाहा बाहुल्य और मुस्लिम बाहुल्य आबादी वाले क्षेत्र के रूप में भी जाना जाता है। इसी विधानसभा क्षेत्र में ही कुशवाहा समाज के प्रतिनिधित्व और कुशवाहा समाज के वोटरों के अधिक संख्या होने के चलते भाजपा ने नेता नारायण सिंह कुशवाहा को 3 बार विधायक बनने का मौका दिया और वे मध्य प्रदेश सरकार में जातिगत समीकरण के चलते ही गृह, परिवहन और जेल मंत्री भी रह चुके हैं। इस विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस के नेता भगवान सिंह यादव को भी विधायक और मंत्री बनने का मौका मिल चुका है।

Related Articles