पदोन्नति तो दूर की बात ग्रेडेशन लिस्ट तक नहीं की गई जारी

पदोन्नति
  • रिक्त पदों के बाद भी एएसपी पद पर नहीं किया जा रहा प्रमोशन

भोपाल/प्रणव बजाज/बिच्छू डॉट कॉम। आईएएस और आईपीएस अफसरों को समय से पहले पदोन्नति देने वाला मप्र शासन व सरकार डीएसपी को एएसपी के पद पर पदोन्नत करने को तैयार नही है। प्रदेश में यह हाल तब है जबकि एएसपी के करीब तीस पद खाली बने हुए हैं। हद तो यह है की राज्य पुलिस सेवा के इन पुलिस अफसरों की दो साल से पुलिस मुख्यालय द्वारा ग्रेडेशन लिस्ट तक  तक जारी नहीं की गई है। पदोन्नति में की जा रही लगातार देरी की वजह से बीते दो सालों में कई डीएसपी जो एएसपी बनने की योग्यता रखते थे , बगैर एएसपी बने ही सेवानिवृत्त होने का मजबूर हो गए है। पदोन्नति के मामले में लगातार की जाने वाली देरी का असर बरिष्ठ डीएसपी के कामकज पर भी पड़ रहा है। पात्र और पद होने के बाद भी पदोन्नति न मिलने की वजहों से यह अफसर मानसिक रुप से परेशान बताए जा रहे हैं। दरअसल सरकारी सेवा में आने के बाद पदोन्नति किसी भी अधिकारी और कर्मचारी की हसरत होती है, लेकिन डीएसपी स्तर के बहुत सारे अधिकारियों की यह आस पूरी होने का नाम ही नहीं ले रही है। हालात यह हैं की डीपीसी से एएसपी बनने की  राह देखते-देखते अब वे परेशान हो गए हैं। आखिरकार कई तो रिटायर्ड हो गए और डीएसपी से एएसपी नहीं बन पाए। हद तो यह है की डीएसपी स्तर के अफसरों की एक अप्रैल 2020 की स्थिति में जारी होने वाली एसपीएस अफसरों की ग्रेडेशन लिस्ट अभी तक जारी नहीं की गई है। मध्यप्रदेश में डीएसपी स्तर के अफसरों को पदोन्नति देने के लिए चार मई को डीपीसी की गई थी। इस डीपीसी के जरिए एसपीएस कैडर के 2012 बैच  के 17 अफसरों को पदोन्नति देने की हरीझंडी मिली थी। इनमें से 11 अफसर सीधी भर्ती के डीएसपी हैं और छह अफसर निरीक्षक कैडर से पदोन्नति के जरिए डीएसपी बने थे।  पीएचक्यू और गृह विभाग के आला अफसर चाहते तो 2012 के साथ 2013 बैच के अफसरों की डीपीसी भी करा सकते थे, क्योंकि उसके लिए तय नियम भी 2013 बैच के अफसरों पर लागू होता है। डीएसपी से एएसपी उन अफसरों को बनाया जाता है, जिनका सर्विस रिकार्ड अच्छा हो और उनकी आठ साल की सेवा डीएसपी के तौर पर पूरी हो गई हो।
यह हैं ग्रेडेशन लिस्ट के हाल
राज्य पुलिस सेवा के अफसरों की ग्रेडेशन लिस्ट (पदक्रम सूची) भी दो साल से जारी नहीं हुई है। सामान्य तौर पर ग्रेडेशन लिस्ट एक अप्रैल की स्थिति में जारी होती है। एसपीएस कैडर के अफसरों की ग्रेडेशन लिस्ट एक अप्रैल 2020 की स्थिति में जारी होनी थी, लेकिन दो साल गुजर जाने के बावजूद अटकी हुई है। नई ग्रेडेशन लिस्ट 2021 में मंजूरी के लिए पीएचक्यू से भेजी ही नहीं गई  और 2022 का मई महीना शुरू हो गया है। इससे जाहिर होता है कि पदोन्नति तो दूर की कौड़ी है, आला अफसरों ने ग्रेडेशन लिस्ट तक जारी नहीं कर रहे हैं।

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