
- प्रदेश में पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव की तैयारियां तेज
भोपाल/हरीश फतेहचंदानी/बिच्छू डॉट कॉम। प्रदेश में पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव की तैयारियां जोरों पर है। आरक्षण होने के बाद यह तय है कि चुनाव जल्द से जल्द होंगे। ऐसे में राज्य निर्वाचन आयोग ने भी तैयारियां तेज कर दी है। चुनाव कराने के लिए राज्य निर्वाचन आयोग ने सरकार से 221 करोड़ रूपए से अधिक का बजट मांगा है। इस हिसाब से तकरीबन 5,000 रूपए में एक प्रतिनिधि चुनाव जाएगा।
गौरतलब है कि प्रदेश में पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव बड़े इंतजार के बाद हो रहे हैं। चुनाव कोई भी हो, इसके नाम पर सरकारी और निजी तौर पर करोड़ों रुपए खर्च होते हैं। एक अनुमान के अनुसार प्रदेश में कराए जा रहे नगरीय और पंचायत चुनाव के लिए सरकारी तौर पर 221 करोड़ रुपए खर्च होंगे। यह राशि बड़ी जरूर लग रही है लेकिन चुनने जा रहे चार लाख से अधिक जन प्रतिनिधियों में बांट दी जाए तो एक प्रतिनिधि के नाम पर सरकार को लगभग पांच हजार रुपए खर्च करना पड़ेंगे। इसके बाद पांच साल तक कोई खर्च नहीं होगा।
आयोग ने मांगा सरकार से 221 करोड़ का बजट
राज्य निर्वाचन आयोग प्रदेश में नगरीय एवं पंचायत चुनाव की तैयारियों में जुटा है। आयोग ने सरकार से 221 करोड़ ने से अधिक का बजट मांगा है। दरअसल, पंचायत चुनाव में पंच और सरपंच के लिए मतपत्र की छपाई पर लगभग 5 करोड़ रुपए खर्च होने का अनुमान है। अलग-अलग पांच रंगों के मतपत्र भी छपवाए जाएंगे। डेढ़ लाख मतपेटियों की व्यवस्था की जाएगी। इसके अलावा चुनाव प्रशिक्षण और मतदान दलों पर भी खर्च होगा। इसमें अन्य खर्चे भी शामिल रहेंगे।
चार लाख से अधिक प्रतिनिधि चुने जाएंगे
प्रदेश में इस बार पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव में 4 लाख से अधिक प्रतिनिधि चुने जाएंगे। इनमें से पंचायत चुनाव के दौरान 3,95,567 प्रतिनिधि चुने जाएंगे। ये प्रतिनिधि पंच, सरपंच, जनपद पंचायत और जिला पंचायत सदस्य हो जाएगा। होंगे। वहीं नगरीय निकाय में करीब 6,316 प्रतिनिधि निर्वाचित होंगे। मध्यप्रदेश शासन के वर्ष 2022-23 के बजट में अनुमानित व्यय 2,47,715 करोड़ रुपए प्रावधानित खर्च जनप्रनिधि का है। बजट के हिसाब से सरकार लगभग 678 करोड़ रुपए हर दिन खर्च करेगी। इसका सीधा सा मतलब यह है कि सरकार के केवल 8 घंटे के खर्च में पांच साल के लिए चुनाव स्थानीय निकाय चुनाव में पार्षद से महापौर तक और पंच से लेकर जिला पंचायत सदस्य तक कुल 4,01,883 जनप्रतिनिधियों का चुनाव होगा। यानि 5,499 रुपए खर्च होने पर पांच साल के लिए एक प्रतिनिधि मिल जाएगा।