एक माह बाद भी आयुष विभाग में नहीं हो पा रहा उजाला

आयुष विभाग

अफसरों की लापरवाही पड़ रही कर्मचारियों पर भारी

गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। सतपुड़ा भवन में आग लगने की घटना को एक महीना हो चुका है।  लेकिन आज तक सतपुड़ा भवन में विद्युत व्यवस्था बहाल नहीं हो पाई है। इसका असर यह देखा जा रहा है कि आयुष विभाग के अधिकारी-कर्मचारी जुगाड़ की बिजली से ऑनलाइन काम करने को मजबूर हो रहे हैं। विभाग ने जुगाड़ की बिजली से कंप्यूटर चलाकर ऑनलाइन कार्य शुरू तो कर दिया है, लेकिन उसके बाद भी काम प्रभावित हो रहा है। मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के प्रांताध्यक्ष ओपी कटियार का कहना है कि निश्चित तौर पर आयुष विभाग आयुष शासन का सबसे प्रमुख विभाग है। उसके बावजूद आज तक यहां विद्युत के प्रबंध नहीं हुए हैं। कर्मचारी बाहर से जुगाड़ की व्यवस्था पर ऑनलाइन कार्य कर रहे हैं।
गौरतलब है कि आयुष विभाग प्रदेश में तीन पद्धतियों की उपचार सेवाओं पर नियंत्रण रखता है। अग्निकांड के बाद यहां आज तक विद्युत का उजाला नहीं मिला। अंधकार से चारों ओर वीरानी का नजारा है। कर्मचारी तो ठीक अधिकारी कार्यालय के बाहर बैठकर लाइट का सहारा लेकर ऑनलाइन कार्य कर रहे हैं। इधर जवाबदारों का कहना है कि शासन ने कोई निर्णय नहीं लिया तो वे क्या कर सकते हैं। आयुष जैसे प्रमुख विभाग में आज तक विद्युत की व्यवस्था नहीं की गई है। जबकि देखें तो आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी जैसी पद्धतियों के कोई ढाई हजार छोटे और बड़े अस्पतालों का नियंत्रण इसी विभाग पर है। वरिष्ठ कर्मचारी नेता भानु तिवारी का कहना है कि पूरे आयुष विभाग के कार्यालय में अंधकार पसरा है। सतपुड़ा भवन के मुख्य द्वार पर कर्मचारियों को हर दिन जुगाड़ से ऑनलाइन काम करते देखा जा सकता है। कार्यालय में अंधकार के बीच सेवक रोज बैठ रहे हैं।
पोर्च में तीन काउंटर पर काम
शासन की दो दर्जन कल्याणकारी योजनाएं मरीजों के हितों में संचालित हो रही हैं। जिनके सफल क्रियान्वयन का दायित्व इसी विभाग के पास है। उसके बावजूद आज तक समुचित सुविधाएं नहीं बन पाई हैं। अब हालात यह हैं कि कर्मचारियों पर अफसर काम का दबाव बना रहे हैं, जबकि सुविधाएं शून्य हैं। अधिकारियों की कार्यवाही से बचने के लिए कर्मचारियों ने सतपुड़ा के मुख्य द्वार के पोर्च में तीन काउंटर बनाए हैं। यहां टेबल कुर्सी डाल कंप्यूटर रखे गये हैं। यह व्यवस्था ऐसी जगह की गई जहां बिजली के बोर्ड लगे हैं। यहीं पर जुगाड़ से ऑनलाइन कार्य किया जा रहा है। सतपुड़ा स्थित आयुष विभाग के राज्य कार्यालय में 13 शाखाओं का संचालन होता है। जहां कमिश्नर से लेकर 170 अधिकारी और कर्मचारियों की बैठक व्यवस्था होती है। यहां से तीनों पद्धतियों की उपचार सेवाओं पर नियंत्रण रखा जाता है।
ऑनलाइन राशि का आदान प्रदान रूका
मरीजों के हितों में संचालित कल्याणकारी योजनाओं की निगरानी और ऑनलाइन राशि का आदान प्रदान यहीं से होता है। कर्मचारियों का कहना है कि एक माह से पूरा सिस्टम ठप पड़ा है। ज्यादातर व्हाट्सएप और मोबाइल पर संवाद से काम हो रहा है। सिस्टम के तहत जो कार्य होना चाहिए, वह पूरी तरह बंद पड़ा है। स्टेट कार्यालय प्रमुख आयुष विभाग पीसी शर्मा का कहना है कि बिजली की कमी से काम प्रभावित हो रहा है। शासन को पत्र लिखा गया है कि कार्यालय का संचालन कहां और किस प्रकार किया जाना है। शासन को ही आदेश करना है कि कैसी व्यवस्थाएं बनाई जानी हैं।

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