‘नशे से दूरी-है जरूरी’ ने बनाया वल्र्ड रिकॉर्ड, 23 लाख लोगों ने लिया भाग

नशे से दूरी-है जरूरी
  • डीजीपी कैलाश मकवाना को वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉडर्स के सीईओ ने दिया प्रमाणपत्र
  • प्रदेश में 6.35 करोड़ लोगों ने की सहभागिता

भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। मध्यप्रदेश पुलिस का जनजागरुकता अभियान नशे से दूरी-है जरूरी ने वल्र्ड रिकार्ड बनाया है। इसमें प्रदेश के 57 जिलों के 1175 थानों में संचालित अभियान में लगभग 23 लाख लोगों ने प्रत्यक्ष तथा सोशल मीडिया माध्यमों से 6.35 करोड़ लोगों ने सहभागिता की। इस उपलब्धि के लिए शुक्रवार को पीएचक्यू में वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉडर्स के सीईओ संतोष शुक्ला ने डीजीपी कैलाश मकवाना को प्रमाणपत्र भेंट किया और ब्रिटिश पॉर्लियामेंट में 13 सितंबर को होने वाले सम्मान समारोह में डीजीपी मकवाणा को भी आमंत्रित किया गया है। बता दें कि मध्यप्रदेश पुलिस के नशे के विरुद्ध 15 से 30 जुलाई तक नशे से दूरी है जरूरी, राज्यव्यापी जनजागरूकता अभियान चलाया। इसकी अपनी व्यापकता, प्रभावशीलता तथा वृहद स्तर पर जनसहभागिता के चलते वल्र्ड रिकॉर्ड कायम किया है। इसके लिए पुलिस मुख्यालय में वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉर्डस के सीईओ तथा प्रेसीडेंट संतोष शुक्ला ने पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाणा और एडीजी नारकोटिक्स केपी व्यंकटेश्वर राव से मिलकर सर्टिफिकेट प्रदान किया। इस दौरान वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉर्डस संस्था की जनरल सेक्रेटरी डॉ. तिथि भल्ला तथा एडिटर अपूर्वा मेनन सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रही।
कीर्तिमान के लिए नहीं, नशे से दूर रहने करना था प्रेरित: मकवाना
उन्होंने कहा कि हमारा उद्देश्य कभी भी कोई विश्व रिकॉर्ड बनाना नहीं था। हमारा असली मकसद था कि अधिक से अधिक लोगों को नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित किया जाए। यदि इस अभियान को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता मिली है, तो यह सभी पुलिस कर्मियों, सहयोगी संस्थाओं और प्रदेश की जनता के समर्पण का परिणाम है। इस मौके पर डीजीपी मकवाणा ने कहा कि प्रदेश के युवाओं और किशोरों को नशा मुक्त रखना हमारा शासकीय ही नहीं, नैतिक दायित्व भी है। सभी पुलिस अधिकारी/कर्मचारी, अन्य सहयोगी विभाग, विभिन्न संगठनों के अथक प्रयास से यह अभियान एक बड़ा जनआंदोलन बन गया। वही वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉर्डस के सीईओ शुक्ला ने मध्यप्रदेश पुलिस के इस अनूठे जन जागरण अभियान की सराहना करते हुए कहा कि यह अभियान अपने उद्देश्य में सफल रहा।

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