
- एक साल से बनकर तैयार 5 स्टार जैसी सुविधाओं से लैस ओल्ड ऐज होम
भोपाल/बिच्छू डॉट कॉम। मप्र का पहला लग्जरी सरकारी ओल्ड ऐज होम करीब एक साल से अब बनकर तैयार है। लेकिन अभी तक इसका शुभारंभ नहीं हो पाया है। इसके साथ ही यहां प्रवेश पहले आओ पहले पाओ की तर्ज पर दिया जाएगा। प्रवेश के दौरान उनसे दो माह का किराया एडवांस के तौर पर सिक्योरिटी का लिया जाएगा। गत फरवरी में इसके संचालन जिम्मा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़ी संस्था सेवा भारती को सौंपा गया था। इसके लिए सामाजिक न्याय एवं दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग को तीन बार टेंडर जारी करना पड़े थे। तभी से ओल्ड एज होम के चालू होने का इंतजार किया जा रहा है। दरअसल, प्रदेश में ऐसे कई नौकरीपेशा या व्यवसाय से जुड़े लोग हैं, जो विदेश में हैं या फिर देश के किसी अन्य शहर में रहते हैं। ये लोग किसी कारणवश बुजुर्ग माता-पिता को अपने साथ नहीं रख पाते। उन्हें किसी ऐसे सुरक्षित स्थान की तलाश है, जहां उनके माता-पिता को तमाम सुख-सुविधाएं मिलें और उनकी बेहतर ढंग से देखभाल हो सके।
राजधानी के लिंक रोड नंबर तीन पर स्थित अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस ओल्ड एज होम में बुजुर्गों को आशियाना नहीं मिल पाया है। ओल्ड एज होम का निर्माण हुए साल भर हो गया। सरकार ने सरकारी ओल्ड ऐज होम के शुरू करने का काम आरएसएस की अनुषांगिक संस्था सेवा भारती को दो वर्ष के लिए दिया है। इसके बाद काम के आधार पर सरकार इसकी सेवाओं को आगे और भी बढ़ा सकती है। करीब 26 करोड़ रुपए की लागत से बन कर तैयार हुआ यह भवन कोलार तिराहा स्थित पत्रकार कॉलोनी के सामने है। दाम के अनुसार, यह ओल्ड एज होम एनआरआई और आर्थिक संपन्न लोगों के लिए बनाया गया है, जिसमें वृद्धों को सुविधाएं भी फाइव स्टार होटलों के बराबर ही होंगी। अधिकारियों ने कहा कि सशुल्क ओल्ड एज होम का प्रस्ताव पहली बार दिसंबर, 2017 में रखा गया था। इसके लिए राजा भोज एयरपोर्ट के नजदीक गांधीनगर में 12 एकड़ के भूखंड की पहचान की गई थी, लेकिन वरिष्ठ नागरिकों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए बाद में इसे शहर के मध्य में स्थानांतरित करने का निर्णय लिया गया।
बुजुर्गों का रखा गया खास ख्याल
आमतौर पर देखा जाता है कि बुजुर्ग ज्यादातर गर्म पानी का सेवन ही करते हैं। इसी बात का ध्यान रखते हुए हर रूम में केटल की भी व्यवस्था है। इसके साथ ही उन्हें मनोरंजन और पढ़ाई के साथ कई तरह के शौक रहते हैं। इन्हीं बातों का ध्यान रखते हुए रूम में टीवी, फ्रिज, एसी, केटल, माइक्रोवेव और स्टेडी टेबल रखी गई है। साथ ही बाथरूम में टॉयलेट फिटिंग्स का भी खास ध्यान रखा गया है, जिससे उन्हें उठने-बैठने में किसी प्रकार की दिक्कत न आए। ओल्ड एज होम में वृद्धजनों के आरामदायक जीवन के लिए सुविधाओं के साथ एयर कंडीशनर कमरे उपलब्ध कराए जाएंगे। इसमें एक मनोरंजन क्षेत्र, पैदल पाथ, फिजियोथैरेपी सेंटर, पार्क झूले, बुनियादी चिकित्सा सहायता और बजुर्गों की देखभाल के लिए कर्मचारी होंगे। इसमें 60 वर्ष से अधिक उम्र के 56 लोग रह सकेंगे। सामाजिक न्याय विभाग के अधिकारियों का कहना है कि सरकार ने यह अपनी तरह की पहली सुविधा विकसित की है। ओल्ड एज होम का शुल्क प्रति माह प्रति बुजुर्ग 30 से 35 हजार रुपए हो सकता है। अधिकारियों का कहना है कि ओल्ड एज होम में कमरे पहले आओ पहले पाओ के आधार पर देने का निर्णय लिया गया है, लेकिन अब तक इसकी प्रक्रिया शुरू नहीं की जा सकी है। प्रमुख सचिव, सामाजिक न्याय विभाग सोनाली वायंगणकर का कहना है कि ओल्ड एज होम के संचालन की जिम्मेदारी सेवा भारती संस्था को दी गई है। इसका शुभारंभ जल्द होने की उम्मीद है।
24 घंटे मिलेगी मेडिकल सुविधा
इस ओल्ड एज होम में एसी और नान एसी दोनों तरह के कमरे हैं। यहां वृद्ध जनों को मेडिकल सुविधा के साथ एंबुलेंस भी तैनात रहेगी। यहां बुजुर्गों के लिए एक छोटा अस्पताल भी बनाया जाएगा, जिसमें 24 घंटे एक डाक्टर, दो नर्स और अन्य स्टाफ भी मौजूद रहेगा। साथ ही बुजुर्गों का डेली रुटीन मेडिकल चेकअप किया जाएगा। यहां पर एसी कॉटेज के अलावा पार्क, लाइब्रेरी, वाई-फाई और फिजियोथेरेपी जैसी ढेर सारी सुविधाएं उपलब्ध है। वृद्ध जनों को ध्यान में रखकर कई तरह की आधुनिक सुविधाएं प्रदान की गई है। उन्हें घूमने के लिए पाथ वे के साथ ओपन गार्डन और रेस्टोरेंट भी शामिल है। यहां वीआईपी होटल जैसी तमाम तरह की सुविधा व्रत जनों को मिल पाएगी। इसमें मेस, लाउंड्री, योग, लाइब्रेरी, फिजियोथेरेपी के साथ इनडोर गेम्स की सुविधा भी दी गई है।
