करुर की भगदड़ में विजय की गलती नहीं: अन्नामलाई

अन्नामलाई

करुर (तमिलनाडु)। तमिलनाडु के करुर में हुई भगदड़ पर भाजपा ने सरकार से तीखे सवाल पूछे हैं। पार्टी नेता और पूर्व प्रदेश अध्यश्र के अन्नामलाई ने अस्पताल जाकर पीड़ितों का हाल जाना। उन्होंने पत्रकारों के सवालों के जवाब में कहा, करुर में भगदड़ विजय की गलती नहीं है। यह तमिलनाडु पुलिस और राज्य के खुफिया विभाग का काम है कि वे भीड़ का अनुमान लगाएं और पुलिस बल पर्याप्त रूप से तैनात करें… सवाल ये है कि पुलिस ने उन्हें 7 घंटे की अनुमति क्यों दी? तमिलनाडु भाजपा सीबीआई जांच की मांग कर रही है… मुख्यमंत्री स्टालिन ने पूर्व हाईकोर्ट जस्टिस की अध्यक्षता में एक सदस्यीय जांच आयोग का गठन किया है। उन्होंने न्यायाधीश का चयन भी खुद किया है। ऐसे में निष्पक्ष जांच कैसे हो सकती है?

उन्होंने कहा, भाजपा की ओर से प्रत्येक मृतक के लिए 1 लाख रुपये के मुआवजे की घोषणा की गई है। जिस स्थान पर कल समारोह हुआ, वहां 5,000 लोग भी ठीक से जमा नहीं हो सकते। पुलिस का कहना है कि 500 पुलिसकर्मी तैनात थे। हम इस पर विश्वास नहीं करते। वास्तविकता ये है कि जमीनी स्तर पर पुलिस अधिकारियों की संख्या 100 से भी कम थी। स्थानीय प्रशासन की विफलता त्रासदी का प्रमुख कारण है… विजय को तमिलनाडु में कहीं भी जाने और प्रचार करने का पूरा अधिकार है… लेकिन राज्य सरकार अपनी जिम्मेदारी निभाने में विफल रही है…

राज्य सरकार पर तीखे हमले करने के बाद भाजपा नेता अन्नामलाई ने विजय को भी नसीहत दी। उन्होंने कहा, उन्हें समझना चाहिए कि, एक सिनेमा स्टार के रूप में राजनीति में प्रवेश करते समय उन्हें अपने दृष्टिकोण को अधिक जिम्मेदार बनाने की आवश्यकता है… सबसे बड़ा सवाल है कि 10 बच्चे क्यों मरे? बकौल भाजपा नेता, ‘जब आप सप्ताहांत में रैलियां करते हैं, तो बच्चे अधिक संख्या में अपनी माताओं के साथ आएंगे… आप जानबूझकर सप्ताहांत पर कार्यक्रम निर्धारित करते हैं, क्योंकि आप अधिक भीड़ जुटाना चाहते हैं। ऐसी रैलियों की योजना ही दोषपूर्ण है… विजय को धरातल पर रहकर इन परिस्थितियों का सामना करना चाहिए।

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