हम आमने-सामने बैठकर बात करना चाहते हैं: जेलेंस्की

जेलेंस्की

कीव। लड़ाई के मोर्चे पर पिछड़ने के बाद यूक्रेन अब रूस के साथ कूटनीतिक तरीके से विवाद का अंत करना चाहता है। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने कहा है कि वह चाहते हैं कि जब भी रूस यूक्रेन युद्ध पर अगली शांति वार्ता हो, तो उसमें रूस को भी शामिल होना चाहिए। रूस यूक्रेन युद्ध के मुद्दे पर बीते जून में स्विट्जरलैंड में एक शांति वार्ता हुई थी। जिसमें दुनिया भर के नेता शामिल हुए थे। हालांकि रूस ने उस शांति वार्ता से दूरी बनाकर रखी थी। साथ ही चीन ने भी इस शांति वार्ता में शिरकत नहीं की थी। जेलेंस्की ने कहा कि ‘पहली शांति वार्ता में रूस को आमंत्रित नहीं किया गया था, लेकिन अब समय आ गया है कि रूस भी शांति वार्ता में शामिल हो। दुनिया के अधिकतर देश अब चाहते हैं कि रूस भी बातचीत का हिस्सा बने, वरना बातचीत से कुछ हासिल नहीं होगा। अगर पूरी दुनिया चाहती है कि रूस भी बातचीत में शामिल हो तो हम इसके खिलाफ नहीं हो सकते।’

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा है कि वह यूक्रेन मुद्दे पर बातचीत के लिए तैयार हैं, लेकिन वह युद्धविराम का आदेश तभी देंगे, जब यूक्रेन उन इलाकों को छोड़ने के लिए तैयार हो, जिन पर मॉस्को दावा करता है। वहीं यूक्रेन का कहना है कि वह क्षेत्रीय समग्रता, युद्धबंदियों की रिहाई और यूक्रेन को ऊर्जा और आर्थिक विकास की गारंटी के बिना नहीं मानेगा। जेलेंस्की ने माना है कि चीन एक अहम देश है, लेकिन वह नहीं चाहते कि रूस-यूक्रेन जंग में चीन मध्यस्थता करे। जेलेंस्की चाहते हैं कि चीन रूस पर दबाव बनाए कि वह यूक्रेन पर अतिक्रमण बंद करे।

यूक्रेन ने माना कि उन्हें दुनियाभर के देशों से समर्थन मिला है, लेकिन उन्होंने इस बात पर भी नाराजगी जाहिर की कि उनके कई सहयोगी देश नहीं चाहते कि यूक्रेन की सेना उनके हथियारों का इस्तेमाल रूस के खिलाफ हमले में करे। जेलेंस्की ने कहा कि ‘यह एक बड़ी चुनौती है कि हम सभी हथियार इस्तेमाल नहीं कर सकते, लेकिन अगर आप हमारी जगह होते तो क्या करते?’ जेलेंस्की ने कई सहयोगी देशों द्वारा हथियारों की सप्लाई न करने पर भी नाराजगी जाहिर की।

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