दादागिरी करने वाले देश अपनी आर्थिक ताकत की वजह से ऐसा कर पा रहे: नितिन गडकरी

नितिन गडकरी

पुणे। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि वैश्विक मंच पर दादागिरी करने वाले देश अपनी आर्थिक ताकत और तकनीकी बढ़त की वजह से ऐसा कर पा रहे हैं। उनकी यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है, जब भारत और अमेरिका के बीच टैरिफ को लेकर तनातनी चल रही है। नागपुर स्थित विश्वेश्वरैया राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (वीएनआईटी) में बोलते हुए गडकरी ने भारत से निर्यात बढ़ाने, आयात कम करने और आत्मनिर्भरता हासिल करने के लिए विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा, ‘जो लोग ‘दादागिरी’ कर रहे हैं, वे ऐसा इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि वे आर्थिक रूप से मजबूत हैं। उनके पास तकनीक है। अगर हमें बेहतर तकनीक और संसाधन मिलेंगे तो हम किसी पर धौंस नहीं जमाएंगे, क्योंकि हमारी संस्कृति हमें सिखाती है कि विश्व कल्याण सबसे महत्वपूर्ण है।’

गडकरी ने कहा, ‘आज दुनिया की सभी समस्याओं का समाधान विज्ञान, तकनीक और ज्ञान है। अगर हम इन तीनों का इस्तेमाल करें, तो हमें दुनिया के आगे कभी झुकना नहीं पड़ेगा। अनुसंधान केंद्रों, आईआईटी और इंजीनियरिंग कॉलेजों को देश की जरूरतों को ध्यान में रखकर शोध करना चाहिए। सभी जिलों, राज्यों और क्षेत्रों में अलग-अलग चीजें होती हैं। हमें सबको ध्यान में रखकर काम करना होगा। अगर हम लगातार ऐसा काम करते रहेंगे, तो हमारे देश की अर्थव्यवस्था की विकास दर तीन गुना तक बढ़ जाएगी।’ केंद्रीय मंत्री की यह टिप्पणी अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से 6 अगस्त को भारतीय वस्तुओं पर अतिरिक्त 25 प्रतिशत शुल्क लगाने के आदेश पर हस्ताक्षर करने के बाद आई है। ट्रंप के इस एलान के बाद भारत पर कुल टैरिफ 50 प्रतिशत हो गया है। इससे भारत अमेरिकी इतिहास में सबसे अधिक कर लगाए जाने वाले व्यापारिक साझेदारों में से एक बन गया है। भारत 25 फीसदी टैरिफ 7 अगस्त से लागू हो चुका है, जबकि शेष 25 फीसदी टैरिफ 27 अगस्त से लागू होगा।

व्हाइट हाउस ने टैरिफ को नई दिल्ली की ओर से रूसी तेल की निरंतर खरीद से जोड़ा है। इस कदम ने दोनों देशों के बीच दो दशकों में सबसे तीखी कूटनीतिक दरार पैदा कर दी है, जिसमें वाशिंगटन ने व्यापार वार्ता स्थगित कर दी है और आगे और प्रतिबंध लगाने की चेतावनी दी है। हालांकि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक स्पष्ट संदेश में कहा कि भारत अपने किसानों, मछुआरों और डेयरी श्रमिकों के कल्याण से कभी समझौता नहीं करेगा। भले ही इसके लिए उसे भारी कीमत क्यों न चुकानी पड़े। नितिन गडकरी के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्रंप का नाम लिए बिना उन पर तंज कसा था। उन्होंने कहा था कि कुछ लोग ऐसे हैं जो भारत के विकास की रफ्तार से खुश नहीं हैं। उन्हें यह अच्छा नहीं लग रहा। ‘सबके बॉस तो हम हैं’। भारत इतनी तेजी से कैसे आगे बढ़ रहा है? कई लोग कोशिश कर रहे हैं कि भारत में, भारतीयों के हाथों से बनी चीजें उन देशों में बनी चीजों से ज्यादा महंगी हो जाएं, ताकि जब ये चीजें महंगी हो जाएं तो दुनिया इन्हें न खरीदे। यह प्रयास किया जा रहा है। लेकिन, भारत इतनी तेजी से आगे बढ़ रहा है कि मैं पूरे विश्वास के साथ कहता हूं, अब दुनिया की कोई ताकत भारत को विश्व की एक बड़ी ताकत बनने से नहीं रोक सकती।

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