मुझे निशाना बनाया गया, ये इत्तेफाक नहीं: ट्रंप

ट्रंप

वॉशिंगटन। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि मंगलवार को संयुक्त राष्ट्र में उनके साथ तीन संदिग्ध घटनाएं घटनाएं हुईं, जिनका वह शिकार बने। उन्होंने कहा कि इन घटनाओं की जांच अब सीक्रेट सर्विस करेगी। ट्रंप संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) की बैठक में शामिल हुए थे, जहां उन्होंने इस संस्था की निंदा की। ट्रंप ने कहा कि यह अपनी पूरी क्षमता का उपयोग नहीं कर पाई है। उन्होंने अमेरिका के सहयोगी यूरोपीय देशों की रूस-यूक्रेन युद्ध में भूमिका और प्रवासियों को स्वीकार करने के तरीके की भी आलोनचा। उन्होंने अन्य विश्व नेताओं से कहा कि उनके देश पतन की ओर जा रहे हैं। अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर ट्रंप ने संकेत दिया कि संयुक्त राष्ट्र में तीन अशुभ घटनाओं के कारण उनका मूड बहुत खराब था। उन्होंने इसे अपने खिलाफ साजिश का हिस्सा बताया। पहली घटना में जब ट्रंप और उनके साथी एस्केलेटर (चलती हुई सीढ़ी) पर थे, तो यह अचानक रुक गई। ट्रंप ने इसे एक साजिश करार दिया। संयुक्त राष्ट्र के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने बताया कि अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के एक वीडियोग्राफर ने गलती से एस्केलेटर के ऊपर स्थित स्टॉप मैकेनिज्म को सक्रिय कर दिया होगा। ट्रंप ने कहा, जिन लोगों ने यह किया उन्हें गिरफ्तार किया जाना चाहिए।

दूसरी घटना में ट्रंप जब संयुक्त राष्ट्र में भाषण दे रहे थे, तो टेलीप्रॉम्प्टर अचानक बंद हो गया। संयुक्त राष्ट्र के एक अधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि इस दावे में विरोधाभास यह है कि टेलीप्रॉम्प्टर का संचान खुद व्हाइट हाउस करता है, न कि संयुक्त राष्ट्र। ट्रंप ने दावा किया तीसरी घटना में जब वह भाषण दे रहे थे, तो उनका माइक ठीक से काम नहीं कर रहा था। उनकी बात उन्हें लोगों तक पहुंच रही थी, जिनके पास कान में लगाने वाले अनुवादक उपकरण मौजूद थे। उन्होंने कहा कि उनकी पत्नी मेलानिया ने भी उन्हें बताया कि वह उनका भाषण ठीक से सुन नहीं सकीं। अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, यह कोई संयोग नहीं था। यह तीसरी साजिश थी। उन्होंने इस मामले की जांच कराने की बात कही। ट्रंप ने संयुक्त राष्ट्र से कहा कि एस्केलेटर के रुकने की फुटेज को संभालकर रखें, क्योंकि सीक्रेट सर्विस इस जांच में शामिल होगी।
संयुक्त राष्ट्र में एस्केलेटर के बंद होने की घटना आम बात है। कर्मचारियों और आगंतुकों को यह अच्छी तरह से मालूम है। हाल के महीनों में न्यूयॉर्क और जिनेवा में संयुक्त राष्ट्र कार्यालयों ने पैसे की कमी के कारण लिफ्ट और एस्केलेटर को बंद करने जैसे कदम भी उठाए हैं। यह समस्या अमेरिका से आंशिक रू से फंडिंग में देरी की वजह से है, जो संयुक्त राष्ट्र का सबसे बड़ा दाता है।

Related Articles