
वीडियो कांफ्रेंसिंग में मंत्री के सामने ही भिड़ गए अफसर
भोपाल/गौरव चौहान/बिच्छू डॉट कॉम। मप्र के वन क्षेत्र में किस तरह नियमों को ताक पर रखकर काम हो रहा है इसका खुलासा गत दिनों उस समय हुआ जब अफसर और मंत्री वीडियो कांफ्रेंसिंग के तहत चर्चा कर रहे थे। विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने मनरेगा के तहत दूसरे विभागों द्वारा कराए जाने वाले कामों की पोल खोलते हुए कहा कि दूसरे विभाग मशीन से काम कर आते हैं और मस्टरोल भर देते हैं। जब वे यह बात बोल रहे थे, तब उनकी बातें वन मंत्री विजय शाह भी सुन रहे थे। उनकी पोल खोल बोल पर वन बल प्रमुख आरके गुप्ता ने फटकार लगाई कि इस प्लेटफार्म पर ऐसी बातें न करें। मंत्री के सामने अफसरों की तकरार कई बार हुई।
जानकारी के अनुसार वीडियो कांफ्रेंसिंग में मनरेगा के बजट खर्च करने के मुद्दे पर चर्चा चल रही थी। इस वीडियो कांफ्रेंसिंग में वन मंत्री विजय शाह, वन बल प्रमुख आरके गुप्ता मुख्यालय में पदस्थ सभी पीसीसीएफ एपीपीसीएफ और फील्ड के समस्त अफसर जुड़े थे। चर्चा में यह बात सामने आई कि वन मंडलों में मनरेगा के बजट खर्च नहीं हो पा रहा है। इसके तहत होने वाले कार्य भी वन मंडलों में धीमी गति से हो रहे हैं।
ऐसी स्थिति में सवाल उठा कि दूसरे विभाग मनरेगा का बजट कैसे खर्च करते हैं..? इस सवाल का जवाब अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक और पदेन वन संरक्षक उज्जैन मनोज अग्रवाल ने दिया। अग्रवाल ने बताया कि दूसरे विभाग मनरेगा के काम मशीन से कराते हैं और बाद में मस्टररोल बनते हैं। उनके इस जवाब का यह आशय निकाला जा रहा है कि दूसरे विभाग मस्टर रोल फर्जी तरीके से भरते हैं। यही वजह रही कि अग्रवाल के जवाब का भावार्थ समझते ही वन बल प्रमुख गुप्ता ने नाराजगी जताते हुए अग्रवाल से प्रति प्रश्न किया कि क्या इस तरीके की बातें करने के लिए यह प्लेटफार्म है? वीडियो कांफ्रेंसिंग में एक और दिलचस्प घटना घटी। पन्ना नेशनल पार्क के डायरेक्टर उत्तम शर्मा ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान वन मंत्री विजय शाह और वन बल प्रमुख आरके गुप्ता का ध्यान आकृष्ट कराया कि केंद्र सरकार भारतीय वन अधिनियम की धारा 26 (1) की तीन उप धाराओं और संरक्षित वन अधिनियमों में संशोधन करने जा रही है। केंद्र सरकार ने आम जनता से 31 जुलाई तक सुझाव मांगे हैं।
उत्तम शर्मा ने अपने सुझाव में यह आग्रह किया कि वन विभाग संगठित अपराध की घटनाओं में सजा का प्रावधान बढ़ाए जाने का सुझाव केंद्र को भेजा जाए. उनके इस सुझाव पर वन मंत्री शाह और डीजी फॉरेस्ट गुप्ता अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते, इससे पहले पदेन वन संरक्षक उज्जैन मनोज अग्रवाल ने शर्मा को कड़ी फटकार लगाते हुए कहा कि आपको फील्ड का अनुभव ही नहीं है, तो सुझाव क्यों दे रहे हो। यही नहीं, उन्होंने यह भी कहा कि वाइल्ड लाइफ में पदस्थ हो, वहां के सुझाव दीजिए। इस संबंध में पन्ना फील्ड डायरेक्टर उत्तम शर्मा का कहना है कि सीनियर अफसर है, उनकी बात का बुरा नहीं मानना चाहिए। शर्मा ने यह भी बताया कि वर्ष 2004 से 2013 तक फील्ड का अनुभव रहा है। यही नहीं, प्रदेश के सबसे संवेदनशील वन मंडल बुरहानपुर में अग्रवाल से ज्यादा 4 साल तक रहा हूं।